बरेली। वर्ष 2025 में बरेली पुलिस ने अपराध और अपराधियों के खिलाफ ऐतिहासिक स्तर पर कार्रवाई करते हुए जिले में कानून-व्यवस्था को नई मजबूती दी है। एसएसपी बरेली अनुराग आर्य के नेतृत्व में चलाए गए सघन अभियानों का सीधा असर यह रहा कि बीते वर्षों की तुलना में जिले में करीब 50 प्रतिशत तक गौकशी मामलों के साथ अपराध की दर में कमी दर्ज की गई।

सालभर की कार्रवाई में बरेली पुलिस ने 200 से अधिक शातिर अपराधियों की हिस्ट्रीशीट खोलकर उन पर कड़ी निगरानी शुरू की। इसके साथ ही 280 अपराधियों पर गुंडा एक्ट के तहत कार्रवाई की गई, जबकि 78 अपराधियों को गैंगस्टर एक्ट में निरुद्ध कर जेल भेजा गया। पुलिस की सक्रियता का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि 102 अपराधियों को मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार किया गया, वहीं एक लाख रुपये के इनामी बदमाश को मुठभेड़ में ढेर कर दिया गया।

लूट, छिनैती और चोरी जैसे अपराधों पर भी बरेली पुलिस ने सख्ती दिखाई। इस दौरान 27 लूट व छिनैती के मामलों का सफल खुलासा करते हुए आरोपियों को गिरफ्तार किया गया। वहीं 13 चोरी के मामलों में 12 शातिर अपराधियों को दबोचा गया। नशे के अवैध कारोबार पर भी पुलिस का शिकंजा कसता रहा और कई आरोपियों को NDPS एक्ट के तहत जेल भेजा गया।
एसएसपी अनुराग आर्य ने प्रदेश सरकार की जीरो टॉलरेंस नीति को जिले में प्रभावी ढंग से लागू करते हुए अपराधियों के खिलाफ कठोर रुख अपनाया। यह पहली बार है जब बरेली जिले में अपराधियों पर रिकॉर्ड स्तर की कार्रवाई हुई है। बेहतर कानून-व्यवस्था और प्रभावी पुलिसिंग के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एसएसपी बरेली अनुराग आर्य को सम्मानित भी किया, जिससे पुलिस बल का मनोबल और अधिक बढ़ा है।

मौलाना पर कार्रवाई की चर्चा पूरे हिंदुस्तान में
एसएसपी अनुराग आर्य के कार्यकाल में मौलाना तौकीर रजा की गिरफ्तारी एक बड़ी और ऐतिहासिक कार्रवाई के रूप में चर्चा का विषय बनी रही। यह गिरफ्तारी केवल एक व्यक्ति पर कार्रवाई नहीं, बल्कि कानून के सामने सब बराबर होने का स्पष्ट संदेश थी। वर्षों तक यह देखा जाता रहा कि मौलाना तौकीर रजा के खिलाफ कानूनी कदम उठाने से पूर्ववर्ती सरकारों और प्रशासनिक तंत्र के जिम्मेदार बचते रहे, लेकिन एसएसपी अनुराग आर्य के नेतृत्व में बरेली पुलिस ने बिना किसी दबाव या भेदभाव के कानून का पालन कराया



