बरेली ।नगर निगम टैक्स विभाग की कार्यप्रणाली एक बार फिर सवालों के घेरे में आ गई है। हजियापुर क्षेत्र में एक प्रॉपर्टी पर बिना किसी जिम्मेदार अधिकारी या कर्मचारी के हस्ताक्षर के कुर्की वारंट चस्पा किए जाने का गंभीर मामला सामने आया है। इस कुर्की वारंट में 4,18,310.93 रुपये का बकाया दर्शाया गया है, जबकि वारंट पर न तो किसी अधिकारी का नाम है और न ही हस्ताक्षर।

यह मामला सपा पार्षद दल के नेता गौरव सक्सेना और कांकर टोला निवासी सनी मिर्जा ने नगर आयुक्त संजीव मौर्य के समक्ष उठाया। इस दौरान प्रॉपर्टी स्वामी हाजी मुजम्मिल हुसैन भी मौजूद रहे।
गौरव सक्सेना ने बताया कि हाजी मुजम्मिल हुसैन ने हजियापुर स्थित अपनी संपत्ति का वर्ष 2022-23 तक का समस्त गृहकर समय से जमा कर दिया था। यह संपत्ति पहले छेदालाल पुत्र लालता प्रसाद के नाम दर्ज थी और दाखिल-खारिज न हो पाने के कारण टैक्स बिल पूर्व भवन स्वामी के नाम से ही आता रहा, जिसे हाजी मुजम्मिल हुसैन नियमित रूप से जमा करते रहे।
इसके बावजूद वर्ष 2023 में नगर निगम टैक्स विभाग की टीम ने अचानक “हाजी जी” नाम की एक अलग आईडी पर 3,22,366.33 रुपये बकाया दिखाते हुए नोटिस जारी कर दिया और उनकी प्रॉपर्टी को सील कर दिया गया। आरोप है कि यह डबल डिमांड का मामला था, जिसकी जानकारी देने के बावजूद अधिकारियों ने कोई सुनवाई नहीं की। मजबूरी में प्रॉपर्टी की सील खुलवाने के लिए हाजी मुजम्मिल हुसैन से दूसरी आईडी पर 50 हजार रुपये जमा कराए गए।
पार्षद ने बताया कि पीड़ित लगातार नगर निगम के चक्कर काटता रहा, लेकिन कोई समाधान नहीं हुआ। इसके बाद 23 सितंबर 2025 को ‘संभव दिवस’ में प्रार्थना पत्र देकर डबल डिमांड समाप्त करने, गलत आईडी हटाने और जमा की गई रकम को सही खाते में समायोजित करने की मांग की गई। इस पर मुख्य कर निर्धारण अधिकारी पी.के. द्विवेदी ने आठ दिन में आख्या तलब की थी। नगर निगम की टीम ने मौके पर जाकर नाप-जोख और मुआयना भी किया, फिर भी समस्या का समाधान नहीं हुआ।
आरोप है कि प्रार्थना पत्र का निस्तारण किए बिना पहले एक दिन का बकाया नोटिस जारी किया गया और अब बिना हस्ताक्षर का कुर्की वारंट घर पर चस्पा कर दिया गया, जिसे पार्षद ने घोर प्रशासनिक लापरवाही करार दिया है।
मामले को गंभीरता से लेते हुए नगर आयुक्त संजीव मौर्य ने टैक्स विभाग को तत्काल कुर्की वारंट हटाने और पूरे प्रकरण की जांच कराने का आश्वासन दिया है।



