शीशगढ़।कुल्ली नदी पर बना ढकिया डैम के बीम एवं सड़क में दरारे पड़ गई हैँ।रेगुलेटर से निकली नहरों से क्षेत्र के लगभग 80 गाँवो के खेतों की सिंचाई होती है।रुहेलखण्ड नहर खण्ड ने शनिवार को दीवार चुनवा कर सड़क पर आवागमन बन्द कर दिया।ऐसे में ग्रामीण नदी पार कर जान जोखिम में डालकर निकल रहे हैं।ढकिया डैम के पास कुल्ली नदी पर कुल्ली रेगुलेटर बना है।यह क्षेत्र में ढकिया डैम के नाम से जाना जाता है।कुल्ली रेगुलेटर वर्षों से छतिग्रस्त है।रुहेलखण्ड नहर खण्ड बरेली के अधिशाषी अभियंता ने रेगुलेटर के पुल पर उसके छतिग्रस्त होने की सूचना अंकित करा दी थी।बावजूद लोग रेगुलेटर के पुल पर बनी सड़क से निकलते हैं।पुल के बीम और सड़क में दरारे पड़ गईं हैं।शनिवार को एसडीओ ने पुल के दोनों ओर सड़क पर दीवारे चुनवा कर आवागमन बन्द कर दिया है।
डैम से 80 गांवों के किसानों के खेतों की होती है सिंचाई
आठ साल पहले गिरी थी ट्रेक्टर ट्राली
कुल्ली रेगुलेटर की रेलिंग की दीवार टूटने से आठ साल पहले बूँची निवासी अरविंद गंगवार अपनी ट्रेक्टर ट्राली के साथ डैम में गिर गए थे।दुर्घटना में अरविंद घायल हो गए थे।ट्रेक्टर ट्राली भी बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गई थी।
अंग्रेजी शासन काल में बना था डैम
ढकिया गाँव के पास कुल्ली नदी पर रेगुलेटर अंग्रेजी शासन में बना था।रेगुलेटर में तीन फाटकों का डैम बना है। डैम के बीम में वर्षों पहले दरार आ गईं।समय के साथ दरारे बढ़ती जा रही हैं।फाटके बुरी तरह छतिग्रस्त हैं।
ब्लाक जाने को 15 किलोमीटर ज्यादा तय करनी होगी दूरी
डैम पर आवागमन बन्द होने से क्षेत्र के सीहोर,सहोड़ा,जोखन पुर,बसई,दोंद आलम पुर परचई,संग्रामपुर सहित दर्जनों गाँवो के ग्रामीण ढकिया डैम से नगरिया कला होकर ब्लाक मुख्यालय शेरगढ़ जाते हैं।कुल्ली रेगुलेटर पर आवागमन बन्द होने से ग्रामीणो को अब धर्मपुरा बसई घाट पर बने पुल से होकर शेरगढ़ जाना होगा।ग्रामीणो ने वताया इसको उन्हें 15 किलोमीटर ज्यादा दूरी तय करनी होगी।एसडीओ नरेन्द्र सिंह ने बताया कि सुरक्षा की दृष्टि से दीवार बनाकर पुल का रोड दोनों ओर से बंद कर दिया है।आचार संहिता खत्म होने पर इसकी मरम्मत एवं निर्माण का प्रस्ताव बनाकर शासन को भेजा जाएगा।