बरेली । फरीदपुर थाना क्षेत्र से 27 नवम्बर से लापता चल रहे लेखपाल मनीष कश्यप का शव कैंट थाना क्षेत्र के बभिया गांव के पास के एक नाले से सड़ी गली हालत बरामद हो गया । बताया यह भी जा रहा है कि मृतक का शव धड़ से अलग हालत में मिला ,जिसे पुलिस पॉलीबैग में रखकर पोस्टमार्टम हाउस के ले गई।हालांकि पुलिस की कई टीमें लेखपाल मनीष को उसकी गुमशुदगी के बाद से तलाश कर रही थी। पर आज मनीष का शव बरामद हो गया। मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।
परिजनों ने कलक्ट्रेट पर काटा था हंगामा
मनीष कश्यप की बरामदगी के लिए परिजनों ने बरेली कलक्ट्रेट गेट पर हंगामा काटा था तब जिले के आलाधिकारियों ने परिवार को सांत्वना देते हुए जल्द मामले के खुलासे की बात कही थी। एडीजी रमित शर्मा ने मामले को गंभीरता से लेते हुए एसपी क्राइम को खुलासे की जिम्मेदारी थी। तब से एसओजी की टीम फरीदपुर में डेरा डाली हुई थी।

मनीष की मां का था यह आरोप
लेखपाल मनीष कश्यप की मां मोरकली ने खल्लपुर गांव की एक जनप्रतिनिधि और उसके सहयोगियों पर अपहरण का आरोप लगाते हुए तहरीर दी थी। साथ ही कुछ परिजनों ने मामले को तहसील के अधिकारियों से भी जोड़ दिया था।बाद में एडीजी जोन रमित शर्मा के आदेश पर फरीदपुर में मुकदमा दर्ज किया गया था। एडीजी ने एसपी क्राइम मुकेश कुमार के नेतृत्व में एसओजी समेत पुलिस टीम को लेखपाल को बरामद करने के लिए लगाया था। इसके बाद एसएसपी अनुराग आर्य ने फरीदपुर पुलिस, एसओजी, सर्विलांस और अन्य टीमों को उनकी तलाश में लगाया था।

जमीन की पैमाइस के विवाद में हुई हत्या !
पुलिस की जांच में इस बात का पता चला कि मनीष कश्यप की हत्या जमीन के पैमाइश विवाद के चलते की गई। फरीदपुर के गांव कपूरपुर के एक व्यक्ति का जमीन को लेकर विवाद चल रहा था। मनीष कश्यप उस जमीन की पैमाइश कर रहे थे। आरोपी को शक था कि मनीष दूसरे पक्ष का समर्थन कर रहे हैं। 27 नवंबर को आरोपी ने मनीष को तहसील बुलाया और अपनी अर्टिगा कार में बैठाकर गला दबाकर उनकी हत्या कर दी। पुलिस ने आरोपी की निशानदेही पर शव को बरामद किया। हत्या के मामले में अन्य संदिग्धों से पूछताछ की जा रही है, और पुलिस जल्द ही आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई करेगी।